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अगले साल से आपकी टेक होम सैलरी घट जाएगी लेकिन कंपनी आपको ज्यादा पैसा चुकाएगी। जी हां यही सच है। अब हमारे देश में भी विकसित देशों की तर्ज पर सामाजिक सुरक्षा पर जोर दिया जाएगा। इसका असर यह होगा कि आपके बैंक खाते में कम सैलरी आएगी। लेकिन आपके पीएफ और ग्रैच्युटी में कंपनी को ज्यादा भुगतान करना होगा।
सरकार के नए वेज बिल को अगले साल अप्रैल से लागू किया जाएगा। इसके तहत किसी भी कर्मचारी को मिलने वाला अलाउंस कुल सैलरी के 50 परसेंट से ज्यादा नहीं हो सकता।
इसका मतलब ये है कि अब बेसिक सैलरी 50 फीसदी या उससे भी ज्यादा हो सकती है। अब क्योंकि पीएफ बेसिक सैलरी के आधार पर ही कैलकुलेट किया जाता है। तो उसमें अब कंपनी और कर्मचारी दोनों का योगदान बढ़ जाएगा।
यह नई व्यवस्था अप्रैल 2021 से लागू हो सकती हैण् इसके बढ़ने से कर्मचारी की टेक होम सैलरी घटेगी और कंपनी पर वित्तीय बोझ बढ़ेगा। इसके साथ ही ज्यादा बेसिक सैलरी का मतलब है कि ग्रैच्युटी की रकम भी अब पहले से ज्यादा होगी और ये पहले के मुकाबले 1 से डेढ़ गुना ज्यादा हो सकती है।
जानकारों का मानना है इस कदम से सामाजिक सुरक्षा का भरोसा दिलाकर सरकार कर्मचारियों का भविष्य संवारेगी। बड़ी कंपनियों में ऊंची सैलरी वाले कर्मचारियों के सैलरी स्ट्रक्चर में अक्सर अलाउंस का हिस्सा 70 से 80 परसेंट होता है। अप्रैल के बाद तय है कि अब सैलरी स्ट्रक्चर बदल जाएगा और उसमें अलाउंस का हिस्सा घट जाएगा।
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