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बॉलीवुड फिल्मकार संजय लीला भंसाली ऐसी फिल्म पर्दे पर लेकर आते हैं जो पूरे देश में तहलका मचा देती है। देश की नजरे फिलहाल संजय भंसाली की अलगी फिल्म गंगूबाई पर है। जिसकी अदाकार ऐक्ट्रस अलिया भट्ट है। गंगूबाई काठियावाड़ी की बायोपिक में मुंबई के बेहद चर्चित रेड लाइट एरिया कमाठीपुरा के कोठों की गलियों में गंगूबाई का नाम आज भी चर्चा में है। और कोठा चलाने वाली गंगूबाई की इस फिल्म का पहला टीज़र रिलीज़ हो चुका है।
असली गंगूबाई कौन थी और उसकी क्या शख्सियत क्या थी? इसके बारे में फिल्म में बहुत कुछ बताया गया है। गंगूबाई काठियावाड़ी को गंगूबाई कोठेवाली के नाम से मुंबई में 1960 के दशक में काफी शोहरत मिली थी। गंगूबाई की अंडवर्ल्ड से लेकर राजनीति तक बहुत पहुंच थी। दबदबा इतना था कि उनसे पंगा लेने वाला दस बार सोचता था। घर से भागी गंगूबाई कमाठीपुरा की सबसे महंगी सेक्स वर्करों में शुमार हासिल की थी। गंगूबाई के 'क्लाइंट' रसूखदार लोग थे।
खास बात ये थी कि शरीर के अलावा गंगूबाई ने अपने दिमाग का भी इस्तेमाल किया और दुनिया के सामने एक बहुत ही बड़ी शख्सियत के रूप में दुनिया के सामने आई। गंगूबाई के अंडरवर्ल्ड से रिश्तों उनके हालात एक दम बदल दिए थे। 1960 का दौर बंबई के इतिहास में हाजी मस्तान और वरदाराजन के साथ बंबई के माफिया त्रिकोण का तीसरा नाम था करीम लाला। लाला खौफ का नाम था और अपने उसूलों के लिए भी मशहूर था। इसने गंगूबाई के साथ क्रूरता से बलात्कार किया था।
इतनी कयामत गंगूबाई ने लाल की सही की कोठी सूनी होने लगी थी। बहुत ही लड़ी गंगूबाई और कमाठीपुरा की क्वीन बनकर दुनिया के सामने आई गंगूबाई। दुनिया की बेताज मलिका गंगूबाई साड़ी में सोने की किनारी और ब्लाउज़ में सोने के बटन गंगू की पहचान हुआ करते थे। बता दें कि आज भी गंगू के फोटो कमाठीपुरा के कोठों की दीवारों पर लगे हुए हैं।
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