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पाकिस्तान कोई भी ऐसी जगह नहीं छोड़ता जहां उसे निचा ने देखना पड़े। दुनिया में वैसे तो इसकी थू थू हो रही है। हाल ही में फ्रांस के विरोध के नाम पर भी उसने कुछ ऐसा किया है, जो मजाक बन गया है। जैसे कि हम जानते हैं कि फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों द्वारा इस्लामिक आतंकवाद को लेकर दिए बयान का मुस्लिम देश विरोध कर रहे हैं। इसी के साथ कई इस्लामिक देश फ्रेंच उत्पादों के बहिष्कार करना शुरू कर दिया है।
इसी कड़ी में पाक के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने खुद को इस्लाम का सबसे बड़ा पैरोकार साबित करने के लिए पाकिस्तान की संसद ने एक प्रस्ताव किया कि फ्रांस में इस्लामिक आतंकवाद विरोध सफल हुआ तो अब क्या पाकिस्तानी राजदूत को वापस बुला लिया जाए या नहीं। हैरानी कि बात तो ये है कि फिलहाल फ्रांस में पाकिस्तान का कोई राजदूत है ही नहीं है। दरअसल, महमूद कुरैशी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के बयान को लेकर संसद में एक निंदा प्रस्ताव पेश किया गया था जिसमें बताया गया कि फ्रांस से पाकिस्तानी राजदूत को वापस बुला लिया जाए।
हंसी की बात तो यह है कि पाकिस्तान की संसद में कुरैशी के प्रस्ताव पर संसद में तुरंत सहमति दे दी। पाक की सभी पार्टियों ने पाकिस्तानी राजदूत को वापस बुलाने का समर्थन किया। हैरानी इस बात पर है कि पिछले तीन महीनों से फ्रांस में पाकिस्तान का कोई राजदूत ही नहीं गया है। इसी बात का जब खुलासा हुआ तो सारी दुनिया में पाकिस्तान का जोरदार मजाक बन गया है। इससे दुनिया को पता चला कि पाक की सांसद में कितने समझदार लोग हैं।
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