राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) (NCP) के प्रवक्ता नवाब मलिक (Nawab malik) ने गुरुवार को नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) (NCB) की जब्ती पर यह कहते हुए सवाल उठाया है कि एजेंसी के अधिकारी अवैध मादक पदार्थों की पहचान करने के काबिल हैं भी या नहीं। 

उन्होंने यहां मीडिया के सामने सनसनीखेज खुलासा करते हुए कहा कि इस साल नौ जनवरी को एनसीबी (NCB) ने देश में कई जगह छापेमारी की थी और किसी एक जगह से उन्होंने 200 किलोग्राम गांजे की कथित बरामदगी की। इसी मामले में नवाब मलिक के दामाद समीर खान गिरफ्तार हुए थे। एनसीबी ने समीर खान (Sameer Khan) पर एक ड्रग डीलर (Drug Dealer) होने और मादक पदार्थों की तस्करी करने सहित कई और भी आरोप लगाए थे। आठ महीने बाद मलिक के दामाद को जमानत पर रिहा किया गया। अदालत के आदेश का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, अदालत के दिए हुए आदेश में कहा गया कि नौ जनवरी को एनसीबी द्वारा की गई जब्ती कोई मादक पदार्थ नहीं था, बल्कि यह एक हर्बल टोबैको था। अब सवाल यह उठता है कि क्या एनसीबी के अधिकारियों को मादक पदार्थ और हर्बल टोबैको के बीच का अंतर नहीं मालूम है। 

मलिक ने कहा, एनसीबी ने उस दिन सनसनीखेज खबर बना दी कि उनके द्वारा किसी एक इंसान के पास से 200 किलोग्राम गांजे की जब्ती की गई है और उसी मामले में समीर खान Sameer Khan को भी गिरफ्तार किया गया था। अब यह साफ है कि एनसीबी NCB ने छापेमारी की योजना लोकप्रियता हासिल करने के मकसद से बनाई थी, उन्होंने एक आम इंसान की छवि को धूमिल करने के साथ इसमें धोखाधड़ी भी की, देश के नागरिकों को परेशान किया। उन्होंने कहा कि वह एनसीबी के अधिकारियों के खिलाफ मामला दर्ज करेंगे।