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महाराष्ट्र में सिंधुदुर्ग जिले के कणकवली में शिवसेना कार्यकर्ता संतोष परब की हत्या के प्रयास के एक मामले में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कणकवली के विधायक नितेश राणे (MLA Nitesh Rane) की अग्रिम जमानत याचिका गुरुवार को जिला विशेष न्यायाधीश एसवी हांडे ने खारिज कर दी।
जमानत याचिका पर दो दिनों की सुनवाई चली और तकनीकी मुद्दों पर इसे खारिज (anticipatory bail plea rejected) कर दिया गया। राणे की ओर से आर वी रावराने और संग्राम देसाई जबकि अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक प्रदीप घरात अदालत में पेश हुए। राणे, जो पिछले चार दिनों से पुलिस के सामने नहीं आये और उनके खिलाफ दर्ज हत्या के प्रयास के मामले में किसी भी कठोर कार्रवाई से राहत की मांग कर रहे थे। अदालत के फैसले की घोषणा के बाद राणे के वकीलों ने कहा कि वे आदेश की प्रति प्राप्त करने के बाद सोमवार को उच्च न्यायालय में अपील करेंगे और पुलिस के सामने पेश होने का कोई सवाल ही नहीं था।
शिव सेना विधायक वैभव नाइक ने प्रतिक्रिया व्यक्त की कि राणे (MLA Nitesh Rane) को अब अदालत के सामने पेश होना चाहिए ताकि जांच में सहयोग हो सके और केंद्रीय मंत्री नारायण राणे को भी अदालत के फैसले को स्वीकार करना चाहिए और अपने पुत्र नितेश को पुलिस के सामने पेश होने के लिए कहना चाहिए। दूसरी ओर सिंधुदुर्ग जिला केंद्रीय सहकारी बैंक (Sindhudurg District Central Cooperative Bank) के 19 सीटों के निदेशक मंडल के लिए मतदान संपन्न होने के बाद तनावपूर्ण स्थिति पैदा हो गई, शिवसेना और भाजपा के कार्यकर्ता आमने-सामने थे जो राणे के मामले में अदालत के फैसले का भी इंतजार कर रहे थे। जमानत अर्जी पर मतदान केंद्र के बाहर एक-दूसरे के खिलाफ नारेबाजी की। जिला पुलिस ने दो समूहों के बीच किसी भी अप्रिय घटना न घटे इसके लिए भारी पुलिस बंदोबस्त तैनात किया।
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