जनता दल यूनाइटेड (JDU) ने विधानसभा चुनावों (Assembly elections) के मद्देनजर अभी से चुनावी सरगर्मियां तेज कर दी हैं। जेडीयू के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा (Upendra Khuswaha) 11 अक्टूबर को उत्तरप्रदेश (UP), वाराणसी के दौरे पर रहेंगे।

गौरतलब है कि कुशवाहा 7 अक्टूबर को ही उत्तरप्रदेश (UP) गए थे। अपने दो दिवसीय दौरे के दौरान उन्होंने पार्टी के चुनावी अभियान की औपचारिक शुरूआत की थी। एक बार फिर वो सोमवार को वाराणसी के दौरे पर रहेंगे। जिसके बाद वो वहीं से बिहार उत्तर प्रदेश चुनावों में पार्टी के प्रचार के लिए रवाना हो जाएंगे।

उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि इस दौरान वो पार्टी के कई नेताओं से मुलाकात करेंगे। राज्य में संगठन को मजबूत करने के लिए पार्टी कार्यकर्ताओं से मुलाकात करेंगे।

उन्होंने कहा कि उत्तरप्रदेश (UP) में जल्द ही कुछ बड़े चेहरे पार्टी में शमिल होने वाले हैं। कुछ दिनों में जिसका औपचारिक ऐलान किया जाएगा। इससे संगठन को मजबूती भी मिलेगी और कार्यकर्ताओं का मनोबल भी बढ़ेगा।

कुशवाहा ने कहा कि यूपी में करीब दो दर्जन सीटों पर जेडीयू (JDU) चुनाव लडऩा चाहती है ताकि पार्टी को वोट प्रतिशत के आधार पर मान्यता हासिल हो सके। हालांकि अभी स्क्रीनिंग की प्रक्रिया पार्टी ने शुरू नहीं की है।

उन्होंने बताया कि इस दौरान वो राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) के तमाम छोटे दलों से संपर्क करेंगे। हालांकि उन्होंने ये एक बार फिर दोहराया कि अगर जेडीयू और बीजेपी का गठबंधन नहीं हो पाया तो पार्टी अकेले या एनडीए के अन्य छोटे दलों के साथ गठबंधन करके भी चुनाव लड़ सकती है।

गौरतलब है कि झारखंड में जेएमएम(झारखंड मुक्ति मोर्चा) पहले ही साफ कर चुकी है कि पार्टी जेडीयू को साथ गठबंधन कर चुनाव लड़ेगी। इससे पहले जदयू के दिल्ली स्थित केन्द्रीय कार्यालय की एक बैठक में आरसीपी सिंह को बीजेपी से बातचीत के लिये अधिकृत किया गया था। जिसमें राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह, केंद्रीयमंत्री आरसीपी सिंह एवं राष्ट्रीय प्रधान महासचिव केसी त्यागी मौजूद थे। बैठक में यूपी विधानसभा चुनावों पर चर्चा हुई है।

दो सप्ताह पहले ही जेडीयू ने राष्ट्रीय पदाधिकारियों की नई सूची भी जारी की थी। राष्ट्रीय अध्यक्ष समेत इसमें कुल 18 पदाधिकारियों को शामिल किया गया। हालांकि इसके पहले राष्ट्रीय पदाधिकारियों की सूची में केवल 16 लोग ही शामिल थे। इस तरह नई सूची में दो पदाधिकारियों की बढ़ोतरी हुई है।