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रेलवे के कर्मचारियों को सरकार की ओर से बड़ी राहत मिली है। 7वें वेतन आयोग के तहत रेलवे ने नाइट ड्यूटी भत्ते के नियमों में कुछ बदलाव किए हैं। जिससे रेलवे कर्मचारियों को फायदा मिलने की उम्मीद है। रेलवे की ओर से बदले गए नियमों के मुताबिक जिन रेलवे कर्मचारियों की बेसिक सैलरी 43,600 रुपये से ज्यादा है उन्हें अब नाइट ड्यूटी अलाउंस नहीं दिया जाएगा। वहीं 7वां वेतन आयोग लागू होने के बाद से जिन्हें भी नाइट ड्यूटी अलाउंस मिला है उनसे रिकवरी की बात भी कही गई थी। फिलहाल रेलवे ने रिकवरी पर रोक लगाने के साथ ही DOPT को चिट्ठी लिखकर अलग अलग हालात में काम कर रहे कर्मचरियों की स्थिति को ध्यान में रखते हुए नाइट ड्यूटी अलाउंस की व्यवस्था करने की बात कही है।
Northern Railway के दिल्ली मंडल के महामंत्री अनूप शर्मा के मुताबिक रेलवे ने फिलहाल नाइट ड्यूटी अलाउंस रिकवरी को रोक दिया है। ये राहत की बात है। रेलवे यूनियनों ने रेल मंत्रालय के सामने नाइट ड्यूटी अलाउंस के मुद्दे को उठाया है। रेलवे यूनियन की ओर से मांग की गई है कि अगर किसी कर्मचारी को नाइट ड्यूटी अलाउंस नहीं दिया जाता है तो उसे रात में बुलाया भी न जाए। नाइट ड्यूटी अलाउंस के कैल्कुलेशन के नियमों में भी कुछ बदलाव किए गए हैं। नई व्यवस्था को तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया गया है। नाइट ड्यूटी अलाउंस के कैल्कुलेशन के लिए फॉर्मूला बनाया गया है, जो कि [(Basic pay+DA/200] फॉर्मूल के आधार पर किया जाएगा। ये फॉर्मूला सभी सरकारी विभागों और मंत्रालयों में लागू होगा।
नाइट ड्यूटी अलाउंस का कैल्कुलेशन सभी कर्मचारियों के लिए अलग अलग उनकी बेसिक पे के आधार पर करना होगा। अब तक एक ग्रेड पे के सभी कर्मचारियों को एक ही नाइड ड्यूटी अलाउंस दिया जाता था। अब नई व्यवस्था के तहत ही ये भत्ता मिलेगा। कर्मचारी ने कितनी नाइट ड्यूटी की है इसका कैल्कुलेशन कर्मचारी के सुपरवाइजर की ओर से दिए गए सर्टिफिकेट के आधार पर किया जाएगा। रात 10 बजे से सुबह से 6 बजे के दौरान काम करने पर ही नाइट ड्यूटी अलाउंस बनेगा।
भारतीय रेलवे के कर्मचारियों ने हाल ही में HRMS में कमियों को लेकर जोरदार प्रदर्शन किया है। ऑल इंडिया रेलवे फेडरेशन (AIRF) के आह्वान पर रेलकर्मियों का विरोध तेज हो गया है। अपनी मांगों को पूरा करने के लिए उन्होंने रेलवे के प्रतिष्ठानों पर प्रदर्शन किया। रेल कर्मचारी HRMS सिस्टम में सुधार या उसे रोकने की मांग कर रहे हैं। इनका कहना है कि HRMS की वजह से इन्हें काफी दिक्कतों का सामना करना पर रहा है। इसकी वजह से प्रिविलेज पास, रिजर्वेशन और PF निकालने में समस्याएं आ रही हैं। ऑल इंडिया रेल फेडरेशन (AIRF) के महासचिव शिव गोपाल मिश्रा ने कहा कि रेलवे और उनके परिवार के सदस्य अंग्रजों के जमाने से रेलवे पास की सुविधा का लाभ उठा रहे हैं। यह पहली बार है कि इस विशेषाधिकार (privilege) को छीनने की कोशिश हो रही है। जिसे लेकर उनमें बहुत नाराजगी है।
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