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वैज्ञानिकों को चीन के Jiangxi प्रांत में डायनासोर के एक अंडे का जीवाश्म मिला है। इसमें सबसे खास बात ये है कि वैज्ञानिकों को इसके अंदर संरक्षित एक डायनासोर भ्रूण (Dinosaur Embryo) का भी पता चला है। इस भ्रूण को बेबी यिंगलियांग (Baby Yingliang) नाम दिया गया है। ये ज्ञात सबसे पूर्ण डायनासोर भ्रूणों में से एक है। माना जा रहा है कि ये 10.6 इंच लंबा रहा होगा।
डायनासोर के अंडे का ये जीवाश्म लगभग 66-72 मिलियन (7 करोड़) वर्ष पुराना है। इसके बारे में बर्मिंघम विश्वविद्यालय के नेतृत्व में पैलियोन्टोलॉजिस्ट ने कहा है कि बेबी यिंगलियांग दांत रहित, चोंच वाले थेरोपोड डायनासोर, या 'ओविराप्टोरोसॉर' (Oviraptorosaurs) की प्रजातियों से संबंधित थे।
माना जा रहा है कि ये ओविराप्टोरोसॉर (Oviraptorosaurs) पंखों वाले डायनासोर थे, जो एशिया व उत्तरी अमेरिका की चट्टानों में पाए जाते हैं। इसकी चोंच और शरीर का आकार अलग-अलग होता था, जिससे वे आहार की एक विस्तृत श्रृंखला को अपना सकते थे।
खबर है कि भ्रूण Baby Yingliang अंडे सेने के करीब था। उसका सिर उसके शरीर के नीचे था, उसकी पीठ अंडे के आकार की तरह ही मुड़ी हुई थी और उसके पैर, सिर आदि भी थे।
शोधकर्ताओं ने बताया कि आधुनिक पक्षियों में इस तरह की मुद्रा (जैसी बेबी यिंगलियांग की थी) 'टकिंग' के दौरान देखी जाती है। टकिंग केंद्रीय तंत्रिका तंत्र से कंट्रोल होने वाली एक प्रक्रिया है जो एक सफल हैचिंग के लिए जरूरी है।
यह रिसर्च यूनिवर्सिटी ऑफ बर्मिंघम के जीवाश्म विज्ञानी फियोन वैसम माई और उनकी टीम ने की है। उनके मुताबिक डायनासोर के भ्रूण कुछ सबसे दुर्लभ जीवाश्मों में से एक हैं। हम Baby Yingliang की खोज को लेकर बेहद उत्साहित हैं और आगे इस पर रिसर्च जारी रखेंगे। हमें इससे डायनासोर के विकास और प्रजनन के बारे में बहुत सारे सवालों के जवाब मिल सकते हैं।
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