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मेघालय में 27 फरवरी 2023 को होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए पूर्व मुख्यमंत्री मुकुल संगमा तृणमूल कांग्रेस का चेहरा हैं। कांग्रेस के सदस्य रहे मुकुल 11 विधायकों के साथ नवंबर 2021 में टीएमसी में शामिल हो गए थे। चुनाव प्रचार के बीच मुकुल संगमा ने मेघालय चुनाव में टीएमसी की संभावनाओं सहित कई मुद्दों पर बात की। इस दौरान उन्होंने कहा कि असम-मेघालय सीमा समझौता दो जनविरोधी सरकारों के बीच का समझौता है।
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असम-मेघालय सीमा समझौते पर बात करते हुए विपक्ष के नेता मुकुल संगमा ने कहा कि यह दो जनविरोधी सरकारों के बीच का समझौता है। उन्होंने कहा, दोनों राज्यों की सरकारों को लोगों की भावनाओं को देखना चाहिए था। पूर्वोत्तर पुनर्गठन अधिनियम (1971) के आधार पर भारतीय सर्वेक्षण विभाग ने अंतर-राज्यीय सीमा का सीमांकन (Demarcation) किया। उस समय भी राज्य के नेताओं ने सीमांकन को स्वीकार नहीं किया था। लोगों ने इस सीमांकन को स्वीकार नहीं किया। मेघालय की सारी जमीन लोगों की है, सरकार की नहीं। तो समझौता किस पर आधारित है?
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टीएमसी के लिए बाहरी पार्टी या पश्चिम बंगाल की पार्टी के टैग के बारे में बात करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि ऐसे हमले निंदनीय हैं और इससे जमीन पर कोई फर्क नहीं पड़ता। उन्होंने कहा, उम्मीदवार किस लिए खड़ा है, यह सभी जानते हैं। आपको याद रखना चाहिए कि प्रत्येक राजनीतिक दल (चाहे वे कहीं से भी हों) की राज्य इकाइयां होती हैं और उनके पास राज्य के नेता होते हैं। हमारे पूर्वजों ने हमारे राज्य के लिए लड़ाई लड़ी है और अब तक यही विचार है कि हम अपने ही लोगों द्वारा शासित हों।
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